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  • Create Date October 3, 2023
  • Last Updated October 3, 2023

श्रीमल्लिका कवच एक शक्तिशाली मंत्र है जो देवी श्रीमल्लिका की रक्षा प्रदान करता है। यह एक स्तोत्र है जो देवी श्रीमल्लिका के स्वरूप और शक्तियों का वर्णन करता है।

श्रीमल्लिका कवच का पाठ करने से निम्नलिखित लाभ होते हैं:

  • देवी श्रीमल्लिका की कृपा प्राप्त होती है।
  • सभी प्रकार के भय और खतरों से सुरक्षा प्राप्त होती है।
  • रोगों और कष्टों से मुक्ति मिलती है।
  • मानसिक और शारीरिक शक्ति में वृद्धि होती है।
  • सभी कार्यों में सफलता प्राप्त होती है।

श्रीमल्लिका कवच का पाठ करने के लिए किसी विशेष समय या स्थान की आवश्यकता नहीं होती है। इसे किसी भी समय और किसी भी स्थान पर किया जा सकता है।

श्रीमल्लिका कवच का पाठ करने की विधि निम्नलिखित है:

  1. सबसे पहले, एक स्वच्छ स्थान पर बैठें और अपने सामने एक दीपक जलाएं।
  2. फिर, देवी श्रीमल्लिका के नामों का उच्चारण करें।
  3. अब, देवी श्रीमल्लिका के स्वरूप और शक्तियों का वर्णन करते हुए कवच का पाठ करें।
  4. अंत में, देवी श्रीमल्लिका से अपनी रक्षा करने की प्रार्थना करें।

श्रीमल्लिका कवच का पाठ करने से सभी प्रकार के भय और खतरों से सुरक्षा प्राप्त होती है। यह एक बहुत ही शक्तिशाली मंत्र है जो देवी श्रीमल्लिका की कृपा प्राप्त करने में मदद करता है।

श्रीमल्लिका कवच का पाठ करने के लिए निम्नलिखित मंत्र का उपयोग किया जाता है:

ॐ नमो भगवते
श्रीमल्लिकेदेव्यै
नमः

नमस्ते श्रीमल्लिके
त्रिनेत्रासौम्यरूपे
शुद्धे शुद्धरूपे
त्रिदेवात्मके

नमस्ते ब्रह्मस्वरूपे
नमस्ते रुद्रस्वरूपे
नमस्ते विष्णुरूपे
नमस्ते महेश्वरि

नमस्ते कामाख्या देवी
नमस्ते त्रिपुरासुंदरी
नमस्ते त्रिपुरभैरवी
नमस्ते त्रिपुरवासिनी

नमस्ते सर्वदेवमाता
नमस्ते सर्वशक्तिमता
नमस्ते सर्वरक्षाकारिणी
नमस्ते सर्वसिद्धिदायिनी

यं कवचं पठेत्
सर्वार्थसिद्धिं लभते
सर्वदुष्टभयं नाशयति
सर्वरोगभयं नाशयति
सर्वशत्रुभयं नाशयति

॥ इति श्रीमल्लिका कवचम् ॥

इस मंत्र का अर्थ है:

  • हे श्रीमल्लिका, मैं तुम्हें नमन करता हूं।

  • हे त्रिनेत्रा, मैं तुम्हें नमन करता हूं।

  • हे शुद्ध रूप वाली, मैं तुम्हें नमन करता हूं।

  • हे त्रिदेवों की आत्मा, मैं तुम्हें नमन करता हूं।

  • हे ब्रह्मस्वरूपिणी, मैं तुम्हें नमन करता हूं।

  • हे रुद्रस्वरूपिणी, मैं तुम्हें नमन करता हूं।

  • हे विष्णुस्वरूपिणी, मैं तुम्हें नमन करता हूं।

  • हे महेश्वरि, मैं तुम्हें नमन करता हूं।

  • हे कामाख्या देवी, मैं तुम्हें नमन करता हूं।

  • हे त्रिपुरासुंदरी, मैं तुम्हें नमन करता हूं।

  • हे त्रिपुरभैरवी, मैं तुम्हें नमन करता हूं।

  • हे त्रिपुरवासिनी, मैं तुम्हें नमन करता हूं।

  • हे सर्वदेवमाता, मैं तुम्हें नमन करता हूं।

  • हे सर्वशक्तिमता, मैं तुम्हें नमन करता हूं।

  • हे सर्वरक्षाकारिणी, मैं तुम्हें नमन करता हूं।

  • हे सर्वसिद्धिदायिनी, मैं तुम्हें नमन करता हूं।

  • जो इस कवच का पाठ करता है,

  • वह सभी प्रकार की सिद्धियों को प्राप्त करता है,

  • और सभी प्रकार के भय और खतरों से मुक्त हो जाता है।

श्रीमल्लिका कवच एक बहुत ही शक्तिशाली मंत्र है जो देवी श्रीमल्लिका की कृपा प्राप्त करने में मदद करता है। यह एक ऐसा उपाय है जो सभी प्रकार के भय और खतरों से सुरक्षा प्रदान करता है


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