Khatu Shyam: खाटू श्याम को कलियुग का सबसे प्रसिद्ध भगवान माना जाता है. खाटू श्याम भगवान को लेकर भक्तों के बीच गहरी आस्था है. इनक संबंध महाभारत काल से जुड़ा है. राजस्थान के सीकर में खाटू श्याम का मंदिर स्थित है. वैसे तो खाटू श्याम के कई मंदिर हैं, लेकिन मान्यता है कि राजस्थान के सीकर में स्थित यह मंदिर खाटू श्याम के सभी मंदिरों में सबसे ज्यादा प्रसिद्ध है. खाटू श्याम को कलियुग संसार में सबसे प्रसिद्ध भगवान माना गया है. खाटू श्याम जी के दर्शन करने के लिए लाखों भक्तों की भीड़ हर दिन उमड़ती है. मान्यता है कि जो भक्त यहां आकर भगवान के दर्शन करते हैं और मनोकामना मांगते हैं, उनके सभी मनोरथ पूर्ण होते हैं.
Khatu Shyam खाटू श्याम भगवान से जुड़ी 10 बातें
- खाटू श्याम भगवान को भगवान कृष्ण का कलयुगी अवतार माना जाता है।
- वे महाभारत के पात्र घटोत्कच के पुत्र बर्बरीक के अवतार माने जाते हैं।
- बर्बरीक महान धनुर्धर थे और उन्हें तीन बाण धारी के नाम से भी जाना जाता है।
- महाभारत के युद्ध से पहले, बर्बरीक ने भगवान कृष्ण से वरदान मांगा कि वह युद्ध में दोनों पक्षों का नाश न करे, बल्कि केवल अधर्म का नाश करे।
- भगवान कृष्ण ने बर्बरीक को वरदान दिया, लेकिन युद्ध में दोनों पक्षों के बीच समानता बनाए रखने के लिए, उन्होंने बर्बरीक से अपना शीश दान करने को कहा।
- बर्बरीक ने भगवान कृष्ण की आज्ञा का पालन किया और अपना शीश दान कर दिया।
- बर्बरीक की भक्ति और बलिदान से प्रसन्न होकर, भगवान कृष्ण ने उन्हें वरदान दिया कि वे कलियुग में भगवान श्याम के रूप में पूजे जाएंगे।
- कहा जाता है कि भगवान श्याम अपने भक्तों की हर मनोकामना पूरी करते हैं।
- बाबा खाटू श्याम को हारे का सहारा भी कहा जाता है।
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kalyug:कलियुग में पूजे जाने का सबसे बड़ा कारण
खाटू श्याम भगवान को कलियुग में पूजे जाने का सबसे बड़ा कारण यह है कि वे हारे का सहारा माने जाते हैं। वे उन लोगों की मदद करते हैं जो किसी भी तरह से परेशान हैं या जो अपनी मनोकामनाओं को पूरा करने में असमर्थ हैं।
खाटू श्याम भगवान को कलियुग में पूजे जाने के अन्य कारणों में शामिल हैं:
- उनके मंदिर की सुंदरता और आकर्षण
- उनके भक्तों की गहरी आस्था
- उनके मंदिर में हुए चमत्कार
खाटू श्याम भगवान एक लोकप्रिय देवता हैं और उनके भक्तों की संख्या लगातार बढ़ रही है।