
Sawan Shivratri 2025: सावन मास की चतुर्दशी तिथि को सावन शिवरात्रि का पर्व मनाया जाता है। ऐसा कहा जाता है कि इस दिन जो भोले बाबा पर जल अर्पित करता है, उसकी भोलेबाबा सभी मनोकामनाएं पूरी करते हैं।
Sawan Shivrati 2025 Jalabhishek time: सावन मास की चतुर्दशी तिथि को सावन शिवरात्रि का पर्व मनाया जाता है। ऐसा कहा जाता है कि इस दिन जो भोले बाबा पर जल अर्पित करता है, उसकी भोलेबाबा सभी मनोकामनाएं पूरी करते हैं। Sawan Shivratri 2025 इस बार सावन शिवरात्रि ग्रहों का उत्तम संयोग रहेगा। इस समय गुरु मिथुन राशि में है, सूर्य कर्क राशि में शनि मीन राशि में हैं और शुक्र कर्क राशि में है।
इसके अलावा ग्रहों के कारणइस दिन सर्वार्थ सिद्धि, गजकेसरी, नवपंचम राजयोग बन रहे हैं। इसके अलावा शिवरात्रि पर भद्रावास योग भी रहेगा। सावन शिवरात्रि पर भद्रा का समय सुबह 5:37 बजे से दोपहर 3:31 बजे तक रहेगा। Sawan Shivratri 2025 वैसे तो सावन के पूरे महीने में भगवान शिव की विशेष पूजा अर्चना की जाती है, लेकिन शिवरात्रि परशिवभक्त शिवालयों में जलाभिषेक कर शिव की पूजा अर्चना में करते हैं।
Sawan Shivratri 2025: इस साल शिवरात्रि का पर्व 23 जुलाई बुधवार को मनाया जाएगा। इस साल सावन शिवरात्रि की शुरुआत 23 जुलाई को सुबह 4 बजकर 39 मिनट पर होगी। यह तिथि अगले दिन, यानी 24 जुलाई को अर्धरात्रि में 2 बजकर 24 मिनट पर समाप्त होगी।ऐसे में श्रद्धालु शिवरात्रि पर ब्रह्म मुहूर्त में भगवान शिव का जलाभिषेक कर सकते हैं।
Top rated products
-
Gayatri Mantra Jaap for Wisdom and Knowledge
View Details₹5,100.00 -
Kaal Sarp Dosh Puja Online – राहु-केतु के दोष से पाएं मुक्ति
View Details₹5,100.00 -
Saraswati Mantra Chanting for Intelligence & Academic Success
View Details₹11,000.00 -
Surya Gayatri Mantra Jaap Online
View Details₹1,000.00 -
Kuber Mantra Chanting – Invoke the Guardian of Wealth
View Details₹11,000.00
Sawan Shivratri 2025: सावन शिवरात्रि पर भद्रावास योग
Sawan Shivratri 2025 Date: सावन शिवरात्रि की तिथि
सावन माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि आरंभ: 23 जुलाई, प्रातः 04:39 मिनट पर
सावन माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि समाप्त:24 जुलाई, देर रात 02:28 मिनट पर
इस तरह 23 जुलाई को सावन माह की शिवरात्रि मनाई जाएगी।
सावन शिवरात्रि का शुभ मुहूर्त:Auspicious time of Sawan Shivratri
निशिता काल पूजा समय: 23 जुलाई, 12: 07 मिनट से 12: 48 मिनट तक
भद्रावास योग: दोपहर 03:31 मिनट तक
हर्षण योग: दोपहर 12:35 मिनट से
4 प्रहर का पूजन समय :4 prahar puja time
प्रथम प्रहर- सांय 6:59 से रात 9:36 तक
द्वितीय प्रहर- रात्रि 9:36 से 12:13 तक
तृतीय प्रहर- रात्रि 12:13 से देर रात्रि 2:50 तक
चतुर्थ प्रहर- देर रात्रि 2:50 प्रातः 5:27 तक
सावन शिवरात्रि व्रत पारण का समय: Time of breaking of Saavan Shivratri fast
सावन शिवरात्रि व्रत पारण : 24 जुलाई 2025, प्रातः 05:27 मिनट से शुरू होगा।
सावन शिवरात्रि पर इस विधि से करें पूजा :Worship with this method on Sawan Shivratri
Sawan Amavasya 2025: कब पड़ेगी सावन महीने की अमावस्या? जानें इस दिन किन कामों की है सख्त मनाही
Sawan Amavasya 2025: श्रावण मास की अमावस्या पर कुंडली और जीवन से जुड़े तमाम तरह के दोषों को दूर करने…
Sawan Shivratri 2025: सावन शिवरात्रि पर भद्रावास योग, जलाभिषेक और पूजा के लिए चार पहर का समय जान लें
Sawan Shivratri 2025: सावन मास की चतुर्दशी तिथि को सावन शिवरात्रि का पर्व मनाया जाता है। ऐसा कहा जाता है…
Sawan 2025: जलाभिषेक और रुद्राभिषेक में होता है ये बड़ा अंतर, जानें पूजा के नियम और महत्त्व
Sawan 2025: श्रावण के महीने में शिवलिंग पर जल चढ़ाने की परंपरा निभाई जाती है, जिसे जलाभिषेक कहा जाता है।…
सबसे पहले ब्रह्ममुहूर्त में स्नान आदि से निवृत्त होकर मंदिर को स्वच्छ करें।
फिर व्रत का संकल्प लें। अब गंगाजल, दूध, दही, शहद, घी और शक्कर यानी पंचामृत से शिवलिंग का अभिषेक करें।
इसके उपरांत बेलपत्र, भांग, धतूरा, सफेद फूल, चंदन, फल और धूप-दीप अर्पित करें।
अब भगवान शिव को प्रसन्न करने के लिए ‘ॐ नमः शिवाय’ या ‘महामृत्युंजय मंत्र’ का जाप करें।
संभव हो तो रात्रि जागरण करें।
शिवरात्रि के अगले दिन शुभ मुहूर्त पर व्रत का पारण करें।
शिव प्रार्थना मंत्र:shiva prayer mantra
करचरणकृतं वाक् कायजं कर्मजं श्रावण वाणंजं वा मानसंवापराधं ।
विहितं विहितं वा सर्व मेतत् क्षमस्व जय जय करुणाब्धे श्री महादेव शम्भो ॥
शिव नमस्कार मंत्र:Shiva Namaskar Mantra
शम्भवाय च मयोभवाय च नमः शंकराय च मयस्कराय च नमः शिवाय च शिवतराय च।।
ईशानः सर्वविध्यानामीश्वरः सर्वभूतानां ब्रम्हाधिपतिमहिर्बम्हणोधपतिर्बम्हा शिवो मे अस्तु सदाशिवोम।।
शिव मूल मंत्र: Shiva Mool Mantra
ॐ नमः शिवाय॥
रूद्र मंत्र: Rudra mantra
ॐ नमो भगवते रूद्राय ।
रूद्र गायत्री मंत्र: Rudra Gayatri Mantra
ॐ तत्पुरुषाय विद्महे महादेवाय
धीमहि तन्नो रुद्रः प्रचोदयात्॥
महामृत्युंजय मंत्र:Mahamrityunjaya Mantra:
ॐ त्र्यम्बकं यजामहे सुगन्धिं पुष्टिवर्धनम्
उर्वारुकमिव बन्धनान् मृत्योर्मुक्षीय मामृतात्॥
डिस्क्लेमर (अस्वीकरण): यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं, ज्योतिष, पंचांग, धार्मिक ग्रंथों आदि पर आधारित है। यहां दी गई सूचना और तथ्यों की सटीकता, संपूर्णता के लिए KARMASU.IN उत्तरदायी नहीं है।