• Version
  • Download 153
  • File Size 0.00 KB
  • File Count 1
  • Create Date November 8, 2023
  • Last Updated November 8, 2023

श्रीमदाखिलंददेवि जाम्बुकेश्वरस्तुति एक संस्कृत स्तोत्र है जो भगवान शिव और उनकी पत्नी देवी पार्वती की महिमा का वर्णन करता है। यह स्तोत्र 6 श्लोकों में विभाजित है, प्रत्येक श्लोक भगवान शिव या देवी पार्वती के एक विशेष गुण या स्वरूप की प्रशंसा करता है।

स्तोत्र का प्रारंभिक श्लोक भगवान शिव और देवी पार्वती की महिमा का वर्णन करता है:

नमस्तेऽखिलाखिलाधिपतये । नमस्तेऽखिलाखिलात्मने । नमस्तेऽखिलाखिलशक्तये । नमस्तेऽखिलाखिलवल्लभाय ॥ १ ॥

अर्थ:

हे अखिलाखिलाधिपति, हे अखिलाखिलात्म, हे अखिलाखिलशक्ति, हे अखिलाखिलवल्लभ, मैं आपको नमस्कार करता हूं।

अगले श्लोकों में, स्तोत्र भगवान शिव और देवी पार्वती के विभिन्न रूपों और गुणों की प्रशंसा करता है। उदाहरण के लिए, एक श्लोक में, स्तोत्र भगवान शिव को सृष्टिकर्ता के रूप में प्रशंसा करता है:

सृष्टिकर्ता पालककर्ता संहारकर्ता च । शिव नमस्ते ॥ २ ॥

अर्थ:

सृष्टिकर्ता, पालककर्ता, और संहारकर्ता, शिव, मैं आपको नमस्कार करता हूं।

एक अन्य श्लोक में, स्तोत्र देवी पार्वती को सृष्टि की जननी के रूप में प्रशंसा करता है:

सृष्टिजननी प्रलयकरी । पार्वती नमस्ते ॥ ३ ॥

अर्थ:

सृष्टि की जननी, प्रलय की कारक, पार्वती, मैं आपको नमस्कार करता हूं।

स्तोत्र का अंतिम श्लोक भगवान शिव और देवी पार्वती की एक साथ महिमा का वर्णन करता है:

शिव पार्वती नमस्ते । सर्वकामार्थसिद्धिहेतु ॥ ६ ॥

अर्थ:

शिव पार्वती, मैं आपको नमस्कार करता हूं। आप सभी कामनाओं की सिद्धि के कारण हैं।

श्रीमदाखिलंददेवि जाम्बुकेश्वरस्तुति एक शक्तिशाली स्तोत्र है जो भगवान शिव और देवी पार्वती की कृपा प्राप्त करने में मदद कर सकता है। यह स्तोत्र अक्सर प्रार्थना और ध्यान में किया जाता है।

श्रीमदाखिलंददेवि जाम्बुकेश्वरस्तुति के प्रमुख प्रसंग:

  • स्तोत्र का प्रारंभिक श्लोक भगवान शिव और देवी पार्वती की महिमा का वर्णन करता है।
  • स्तोत्र के अगले श्लोक भगवान शिव और देवी पार्वती के विभिन्न रूपों और गुणों की प्रशंसा करते हैं।
  • स्तोत्र का अंतिम श्लोक भगवान शिव और देवी पार्वती की एक साथ महिमा का वर्णन करता है।

श्रीमदाखिलंददेवि जाम्बुकेश्वरस्तुति के लाभ:

  • इस स्तोत्र का पाठ करने से भगवान शिव और देवी पार्वती की कृपा प्राप्त होती है।
  • यह स्तोत्र सभी कामनाओं की सिद्धि के लिए सहायक है।
  • यह स्तोत्र मानसिक शांति और समृद्धि प्रदान करता है।

श्रीमदाखिलंददेवि जाम्बुकेश्वरस्तुति के लेखक अज्ञात हैं। यह स्तोत्र प्राचीन काल से प्रचलित है।

श्रीमदाखिलंददेवि जाम्बुकेश्वरस्तुति का सार:

श्रीमदाखिलंददेवि जाम्बुकेश्वरस्तुति भगवान शिव और देवी पार्वती की महिमा का वर्णन करता है। यह स्तोत्र उन लोगों के लिए विशेष रूप से उपयोगी है जो भगवान शिव और देवी पार्वती की कृपा प्राप्त करना चाहते हैं। यह स्तोत्र भगवान शिव और देवी पार्वती को प्रसन्न करता है और उनकी कृपा प्राप्त करने में मदद करता है।

श्रीमदाखिलंददेवि जाम्बुकेश्वरस्तुति के कुछ महत्वपूर्ण नाम:

  • शिव - महादेव
  • पार्वती - शिव की पत्नी

Download

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *