Aaj Ka Panchang:🌞~ आज का हिन्दू पंचांग ~🌞
⛅दिनांक – 14 अक्टूबर 2024
⛅दिन – सोमवार
⛅विक्रम संवत् – 2081
⛅अयन – दक्षिणायन
⛅ऋतु – शरद
⛅मास – आश्विन
⛅पक्ष – शुक्ल
⛅तिथि – एकादशी प्रातः 06:41 तक तत्पश्चात द्वादशी रात्रि 03:42 अक्टूबर 15 तक
⛅नक्षत्र – शतभिषा रात्रि 12:43 अक्टूबर 15 तक तत्पश्चात पूर्व भाद्रपद
⛅योग – गण्ड शाम 06:01 तक, तत्पश्चात वृद्धि
Aaj Ka Panchang ⛅राहु काल – प्रातः 08:03 से प्रातः 09:31 तक
⛅सूर्योदय – 06:36
⛅सूर्यास्त – 06:16
⛅दिशा शूल – पूर्व दिशा में
⛅ब्राह्ममुहूर्त – प्रातः 04:57 से 05:47 तक
⛅अभिजीत मुहूर्त – दोपहर 12:02 से दोपहर 12:49 तक
⛅निशिता मुहूर्त- रात्रि 12:01 अक्टूबर 15 से रात्रि 12:50 अक्टूबर 15 तक
⛅ व्रत पर्व विवरण – पापांकुशा एकादशी, पद्मनाभ द्वादशी
⛅विशेष – एकादशी को सिम्बी (सेम) व द्वादशी को पूतिका (पोई) खाने से पुत्र का नाश होता है । (ब्रह्मवैवर्त पुराण, ब्रह्म खंडः 27.29-34)
Aaj Ka Panchang 🔹पापांकुशा एकादशी – 14 अक्टूबर 2024🔹
Aaj Ka Panchang 🔹एकादशी में क्या करें, क्या न करें ?🔹
🌹1. एकादशी को लकड़ी का दातुन तथा पेस्ट का उपयोग न करें । नींबू, जामुन या आम के पत्ते लेकर चबा लें और उँगली से कंठ शुद्ध कर लें । वृक्ष से पत्ता तोड़ना भी वर्जित है, अत: स्वयं गिरे हुए पत्ते का सेवन करें ।
🌹2. स्नानादि कर के गीता पाठ करें, श्री विष्णुसहस्रनाम का पाठ करें ।
🌹हर एकादशी को श्री विष्णुसहस्रनाम का पाठ करने से घर में सुख-शांति बनी रहती है ।
राम रामेति रामेति रमे रामे मनोरमे ।
सहस्रनाम तत्तुल्यं रामनाम वरानने ।।
Aaj Ka Panchang एकादशी के दिन इस मंत्र के पाठ से श्री Aaj Ka Panchang विष्णुसहस्रनाम के जप के समान पुण्य प्राप्त होता है l
🌹3. `ॐ नमो भगवते वासुदेवाय’ इस द्वादश अक्षर मंत्र अथवा गुरुमंत्र का जप करना चाहिए ।
🌹4. चोर, पाखण्डी और दुराचारी मनुष्य से बात नहीं करना चाहिए, यथा संभव मौन रहें ।
🌹5. एकादशी के दिन भूल कर भी चावल नहीं खाना चाहिए न ही किसी को खिलाना चाहिए । इस दिन फलाहार अथवा घर में निकाला हुआ फल का रस अथवा दूध या जल पर रहना लाभदायक है ।
🌹6. व्रत के (दशमी, एकादशी और द्वादशी) – इन तीन दिनों में काँसे के बर्तन, मांस, प्याज, लहसुन, मसूर, उड़द, चने, कोदो (एक प्रकार का धान), शाक, शहद, तेल और अत्यम्बुपान (अधिक जल का सेवन) – इनका सेवन न करें ।
🌹7. फलाहारी को गोभी, गाजर, शलजम, पालक, कुलफा का साग इत्यादि सेवन नहीं करना चाहिए । आम, अंगूर, केला, बादाम, पिस्ता इत्यादि अमृत फलों का सेवन करना चाहिए ।
🌹8. जुआ, निद्रा, पान, परायी निन्दा, चुगली, चोरी, हिंसा, मैथुन, क्रोध तथा झूठ, कपटादि अन्य कुकर्मों से नितान्त दूर रहना चाहिए ।
🌹9. भूलवश किसी निन्दक से बात हो जाय तो इस दोष को दूर करने के लिए भगवान सूर्य के दर्शन तथा धूप-दीप से श्रीहरि की पूजा कर क्षमा माँग लेनी चाहिए ।
🌹10. एकादशी के दिन घर में झाडू नहीं लगायें । इससे चींटी आदि सूक्ष्म जीवों की मृत्यु का भय रहता है ।
🌹11. इस दिन बाल नहीं कटायें ।
🌹12. इस दिन यथाशक्ति अन्नदान करें किन्तु स्वयं किसीका दिया हुआ अन्न कदापि ग्रहण न करें ।
🌹13. एकादशी की रात में भगवान विष्णु के आगे जागरण करना चाहिए (जागरण रात्र 1 बजे तक) ।
🌹14. जो श्रीहरि के समीप जागरण करते समय रात में दीपक जलाता है, उसका पुण्य सौ कल्पों में भी नष्ट नहीं होता है ।
🔹 इस विधि से व्रत करनेवाला उत्तम फल को प्राप्त करता है ।
🌞🚩🚩 ” ll जय श्री राम ll ” 🚩🚩🌞