भीम हनुमानजी प्रसंग – जानिए क्यों विराजित हुए हनुमान जी, अर्जुन के रथ के छत्र पर

धर्म ग्रंथो के अनुसार हनुमानजी और भीम भाई है क्योंकि दोनों ही पवन देवता के पुत्र है। महाभारत में एक प्रसंग आता है जब भीम और हनुमान की मुलाक़ात होती है। आज हम आपको वोही प्रसंग विस्तारपूर्वक बता रहे है।…

द्रोणागिरि – यहां वर्जित है हनुमान जी की पूजा

 हम सब जानते है हनुमान जी हिन्दुओं के प्रमुख आराध्य देवों में से एक है, और सम्पूर्ण भारत में इनकी पूजा की जाती है।  लेकिन बहुत काम लोग जानते है की हमारे भारत में ही एक जगह ऐसी है जहां हनुमान जी की…

विष्णु पुत्रों का संहार करने के लिए लिया था भगवन शिव ने वृषभ अवतार

धर्म ग्रंथो के अनुसार भगवान शिव के 19 अवतार हुए है। इन्हीं में से एक है भगवान शिव का ‘वृषभ अवतार’। जहाँ भगवान शिव ने कई अवतार दानवों का विनाश करने के लिए लिये थे वही वृषभ अवतार, विष्णु पुत्रों का संहार करने…

बभ्रुवाहन ने क्यों किया था अपने पिता अर्जुन का वध?

महाभारत की कथा में एक प्रसंग आता है जब बभ्रुवाहन एक युद्ध में अपने पिता अर्जुन का वध कर देता है।अर्जुन ने द्रोपदी और सुभद्रा के अलावा दो अन्य विवाह और किए थे। एक नाग कन्या उलूपी से जिससे की पुत्र अरावन…

लोहार्गल – यहां पानी में गल गए थे पांडवों के अस्त्र-शस्त्र, मिली थी परिजनों की हत्या के पाप से मुक्ति

राजस्थान के शेखावटी इलाके के झुंझुनूं जिले से 70 कि. मी. दूर अरावली पर्वत की घाटी में बसे उदयपुरवाटी कस्बे से करीब दस कि.मी. की दूरी पर स्थित है लोहार्गल। जिसका अर्थ होता है जहां लोहा गल जाए। यह राजस्थान का पुष्कर के…

अचलेश्वर महादेव – अचलगढ़ – एक मात्र मंदिर जहां होती है शिव के अंगूठे की पूजा

अचलेश्वर महादेव के नाम से भारत में कई मंदिर है जिसमे से एक धौलपुर के अचलेश्वर महादेव के बारे में हम आपको बता चुके है जहाँ पर दिन में तीन बार रंग बदलने  वाला शिवलिंग है। आज हम आपको माउंट आबू…

श्रीकृष्ण और राधा की भेंट | जानें राधा और कृष्ण की प्रेम कहानी

एक दिन ग्वालों के मुखिया नंद बाबा को वृषभानु के घर पधारने का निमंत्रण मिला। नंद बाबा अपने परिवार के साथ उनके घर गए। वृषभानु अपने पिछले जन्म में महाराज सुचंद्र थे। एक राजा के रूप में वृषभानु तथा उनकी…

कृष्ण भगवान की जन्म कथा | भगवान श्रीकृष्ण के जन्म की पौराणिक कथा

जब भगवान कृष्ण के जन्म का समय निकट आया, तो आकाश में रोहिणी नक्षत्र उभर आया और चमकने लगा। यह सितारा केवल शुभ अवसरों पर ही चमकता है। सारे ग्रह और नक्षत्र अनुकूल हो गए। नदियां शांत होकर ठहर गईं।…

हनुमान जी को क्यों चढ़ाते है सिंदूर का चोला ?

हिन्दू धर्म में सिंदूर को सुहाग का प्रतीक माना जाता है। प्रत्येक सुहागन स्त्री इसे अपनी मांग में लगाती है। सिंदूर का हिन्दू धर्म में पूजा पाठ में भी महत्तव है।  कई देवी देवताओं को सिंदूर चढ़ाया जाता है। लेकिन  गणेश…

पौराणिक कथा – गणेश चतुर्थी को क्यों नहीं करने चाहिए चंद्र दर्शन ?

 हमारे धर्म ग्रंथों के अनुसार गणेश चतुर्थी को चंद्र दर्शन नहीं करने चाहिए क्योंकि इस रात्रि को चंद्र दर्शन करने से झूठे आरोप लगते हैं। इस सम्बन्ध में हमारे धर्म ग्रंथों में दो कथाएं है। पहली कथा यह बताती है की…

कश्यप ऋषि के श्राप के कारण शिवजी ने काटा था बालक गणेश का मस्तक

कहते है की इंसान का वर्तमान, उसके पिछले कर्मो पर और भविष्य वर्तमान कर्मों पर आधारित होता है। लेकिन यह बात केवल इंसानो पर ही नहीं अपितु भगवानों पर भी लागू होती है।  हमारे पुराणों में अनेक ऐसी कथाएँ है जब भगवान द्वारा…

शंख से नहीं चढ़ाते शिवलिंग पर जल, जानिए क्यों ?

हम सब जानते है की पूजन कार्य में शंख का उपयोग महत्वपूर्ण होता है। लगभग सभी देवी-देवताओं को शंख से जल चढ़ाया जाता है लेकिन शिवलिंग पर शंख से जल चढ़ाना वर्जित माना गया है। आखिर क्यों शिवजी को शंख से…