यह द्वापरयुग के उन दिनों की बात है, जब पांचों पांडव और कौरव पुत्र, गुरु द्रोणाचार्य से अपनी शिक्षा ग्रहण कर रहे थे। उन दिनों पांडव धनुर्विद्या का ज्ञान प्राप्त कर रहे थे। एक दिन गुरु द्रोणाचार्य ने उनकी परीक्षा…
यह कहानी ऐसे योद्धा की जिसे लोग दानवीर कर्ण के नाम से जानते हैं। कर्ण पांडवों में सबसे बड़े थे और इस बात का पता सिर्फ माता कुंती को ही था। कर्ण का जन्म कुंती के विवाह से पहले ही…
द्वापर युग की बात है। यह बात हर कोई जानता था कि कौरव, पांडवों को हमेशा से अपना शत्रु मानते थे और कैसे भी करके उन्हें मारने की योजना बनाते रहते थे। एक बार जब पांचों पांडव और कुंती वार्णावर्त…
कुरुक्षेत्र में कौरवों और पांडवों के बीच 18 दिन तक घमासान युद्ध चला था। एक ओर धर्म के लिए लड़ने वाले पांडव थे, तो दूसरी ओर छल कपट और धोखा देने में माहिर कौरव। उन्होंने छल से युद्ध जीतने के…
महाभारत ऐसा महाकाव्य है, जिसमें कई छोटी-बड़ी शिक्षाप्रद घटनाओं का जिक्र है। द्रौपदी चीरहरण भी महाभारत की ऐसी ही घटना है। द्रौपदी पांचाल देश की राजकुमारी थी और उसका विवाह अर्जुन से हुआ था। अर्जुन ने द्रौपदी के स्वयंवर में…
महाभारत की कथा में कई महान चरित्रों का जिक्र है। उन्हीं में से एक थे दानवीर कर्ण। श्रीकृष्ण हमेशा कर्ण की दानवीरता की प्रशंसा करते थे। वहीं, अर्जुन और युधिष्ठिर भी दान-पुण्य करते रहते थे, लेकिन श्रीकृष्ण कभी उनकी प्रशंसा…
यह बात उस समय की है, जब कुरुक्षेत्र में कौरवों और पांडवों के बीच युद्ध चल रहा था। पितामह भीष्म कौरवों की ओर से युद्ध लड़ रहे थे, लेकिन कौरवों के सबसे बड़े भाई दुर्योधन को लगता था कि भीष्म…
बहुत समय पहले की बात है, उशीनगर नाम के एक राज्य में एक राजा राज किया करता था। उस राजा का नाम था शिवी। वह एक चक्रवर्ती सम्राट था और अपनी महानता और दयालुता के कारण प्रसिद्ध था। उसकी दया…
एक बार की बात है, राजा उत्तानपाद थे और उनकी दो रानियां थीं। एक रानी का नाम सुनीति और दूसरी रानी का नाम सुरुचि था। सुनीति बड़ी रानी और सुरुचि छोटी रानी थी। रानी सुनीति के पुत्र का नाम ध्रुव…
भगवान शिव को कई नामों से जाना जाता है, उन्हीं में से एक नाम है नीलकंठ। भगवान शिव के हर नाम के पीछे एक कहानी छुपी है और उसी तरह नीलकंठ नाम से भी एक कहानी जुड़ी है। एक बार…
हनुमान जी को भगवान राम का सबसे प्रिय भक्त माना जाता है। हनुमान जी भगवान राम से बहुत प्रेम करते थे। जब श्री राम अयोध्या के राजा बने तब हनुमान जी दिन रात उनकी सेवा में लगे रहते। एक दिन…
रामचंद्र जी को जब उनके पिता दशरथ राजपाट सौंपने वाले थे, तभी उनकी दूसरी पत्नी कैकेयी को उनकी दासी मथंरा ने खूब भड़काया। मंथरा ने कहा कि राजा तो आपके बेटे भरत को बनना चाहिए। इसके बाद कैकेयी ने राजा…